अग्निपथ योजना 2022

अग्निपथ योजना 2022

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अग्निपथ योजना 2022

क्या है ‘अग्निपथ’ योजना

आर्मी, एयरफोर्स और नेवी में भर्ती के लिए रक्षा मंत्रालय ने नई प्रक्रिया अपनाई है। इसे ‘अग्निपथ’ नाम दिया गया है।

देश के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने 14 जून को ‘अग्निपथ’ नाम की योजना शुरू करने की घोषणा की. Agneepath Yojana 2022 के माध्यम से चार साल के लिए भारतीय सेना की तीनों शाखाओं जो कि थलसेना, नौसेना और वायु सेना है, मैं बड़ी संख्या में भर्ती की जाएगी।. योजना के तहत चुने गए युवाओं को ‘अग्निवीर’ कहा जाएगा और इस साल करीब 46 हजार युवाओं को सहस्त्र बलों में शामिल करने की योजना है. हालांकि केंद्र सरकार की इस घोषणा के बाद से देश के अलग-अलग राज्यों में इसके खिलाफ असंतोष नजर आया है|

इस योजना को आरंभ करने की घोषणा रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह एवं सेना के तीनों अंगों के प्रमुख द्वारा की गई है।

अग्निपथ योजना का मुख्य उद्देश्य

इस योजना का मुख्य उद्देश्य प्रदेश के युवाओं को 4 वर्ष के लिए सेना में भर्ती करना है।

जिससे कि उन सभी देश के युवाओं का सपना पूरा हो सके जो सेना में भाग लेना चाहते हैं।

इस योजना के संचालन से देश की सुरक्षा को मजबूत बनाया जा सकेगा।

अग्निपथ योजना के अंतर्गत 4 वर्षों के लिए युवाओं की नियुक्ति की जाएगी  जिसमें उनको सेना की highskill training प्रदान की जाएगी।

इस training के माध्यम से वह प्रशिक्षित एवं अनुशासित बन सकेंगे।

यह योजना देश की बेरोजगारी दर को घटाने में भी कारगर साबित होगी।

इसके अलावा देश के नागरिक इस योजना के संचालन से सशक्त एवं आत्मनिर्भर बन सकेंगे।

इस योजना के संचालन से जवानों की औसतन उम्र घटकर 26 साल की हो जाएगी।

इसके अलावा इन सभी युवाओं में से 25% नौजवानों को सेवा में रख भी लिया जाएगा।

अग्निपथ भर्ती योजना 2022 से जुड़ी मुख्य बातें

  • Agnipath Bharti Yojana 2022 के तहत सेना में 4 साल तक सेवा देने वाले युवकों को अच्छे वेतन के साथ सेवा निधि पैकेज मिलेगा ।
  • इस योजना के तहत युवाओं को पहले साल 4.76 लाख का सालाना पैकेज मिलेगा, चौथे साल तक यह पैकेज 6.92 लाख का हो जाएगा इसके अतिरिक्त अन्य भत्ते भी मिलेंगे।
  • 4 साल की नौकरी के बाद युवाओं को 11.71 लाख की सेवा निधि दी जाएगी जिस पर कोई भी टैक्स लागू नहीं होगा।
  • यदि कोई अग्निवीर सेवा के दौरान बलिदान होता है तो उसके परिजनों को सेवा निधि के साथ ही 1 करोड़ रुपए और बाकी नौकरी का वेतन मिलेगा ‌‌।
  • यदि कोई सैनिक सेवा के दौरान दिव्यांग हो जाता है तो उसे 44 लाख रुपए के साथ बाकी नौकरी का वेतन मिलेगा।
  • अग्निपथ योजना में भर्ती होने वाले युवकों को 10 हफ्तों से लेकर 6 महीने तक की बेसिक ट्रेनिंग दी जाएगी।
  • 10वीं एवं 12वीं पास कर सकेंगे Agnipath Bharti Yojana 2022 के लिए आवेदन|
  • यह भर्ती पूरे देश में मेरिट के आधार पर होगी जो भी लोग इस भर्ती परीक्षा में चयनित हो गए उन्हें 4 साल के लिए नौकरी मिलेगी।
  • सेना की चार साल की नौकरी के बाद युवाओं को भविष्य के लिए और अवसर दिए जाएंगे.
  • चार साल के बाद, अग्निवीर रेगुलर कैडर के लिए अप्‍लाई कर सकते हैं। सेना एक बैच के अधिकतम 25% अग्निवीरों को परमानेंट सर्विस देगी। अगर अग्निवीर एयरफोर्स या नेवी जॉइन करने का फैसला करते हैं तो उन्‍हें खास ट्रेनिंग दी जाएगी।
  • नौसेना प्रमुख एडमिरल आर. हरि कुमार ने जानकारी दी कि अग्निपथ योजना के तहत महिलाओं को भी सशस्त्र सेनाओं में शामिल किया जाएगा।

अग्निपथ योजना की पात्रता

  • आवेदक भारत का स्थाई निवासी होना चाहिए।
  • आवेदक की आयु 17.5 से 21 वर्ष के बीच होनी चाहिए।
  • अग्निवीर द्वारा 10वीं या 12वीं कक्षा उत्तीर्ण की होनी चाहिए।
  • आवेदक को सभी चिकित्सा मानदंडों को पूरा करना होगा।

महत्वपूर्ण दस्तावेज

अगर आप भी भी इस योजना में आवेदन करने के लिए इच्छुक हैं तो आपको बता दे की अगर आपने उपर बताई गई पात्रता पढ़ी है और आप इसके पात्रों हो तो आप भी इस योजना के लिए आवेदन कर सकते हो। आवेदन करने के। लिए जरूरी दस्तावेज की जरूरत पड़ेगी वो नीचे बताए गए है।

  • आधार कार्ड
  • जाती प्रमाण पत्र
  • आय प्रमाण पत्र
  • मेडिकल प्रमाण पत्र
  • 10th or 12th की मार्कशीट
  • निवास प्रमाण
  • बैंक खाता
  • पासपोर्ट साइज फोटो
  • मोबाइल नंबर

अग्निपथ योजना के जवानों मध्य प्रदेश पुलिस भर्ती में प्राथमिकता

मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि भारतीय सेना देश का गौरव है और देशवासियों का अभिमान है. भारतीय सेना के जवान हमारे हीरो हैं, रोल मॉडल हैं. उन्होंने कहा कि जो जवान जो अग्निपथ योजना में सेवाएं दे चुके होंगे, उन्हें मध्य प्रदेश पुलिस की भर्ती में प्राथमिकता दी जाएगी.

असम और मणिपुर की नौकरियों में भी अग्निवीरों को अवसर

पूर्वोत्तर के कई राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने सशस्त्र बलों में युवाओं की भर्ती के लिए अग्निपथ योजना शुरू करने के लिए केंद्र सरकार की सराहना की है. असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा और मणिपुर सीएम एन. बीरेन सिंह ने घोषणा की कि चार साल तक बलों की सेवा करने के बाद राज्य पुलिस की नौकरियों में ‘अग्निवीर’ को विशेष वरीयता दी जाएगी.

युवा क्यों कर रहे विरोध ?

देश के कई राज्यों में युवा इस योजना के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे हैं. बिहार में सबसे अधिक विरोध-प्रदर्शन देखने को मिला है. सेना में शामिल होने की तैयारियों कर रहे युवाओं का पक्ष है कि वो सालों तक खूब मेहनत कर सेना भर्ती होने की तैयारी करते हैं. ऐसे में चार साल की नौकरी उन्हें मंजूर नहीं है. प्रदर्शन कर रहे छात्रों ने सरकार से इस योजना को तुरंत वापस लेने की अपील की है|

इस योजना के खिलाफ युवा छात्र (Agnipath Scheme Protest in Bihar) सड़कों पर उतर आए हैं. बिहार में कई जगहों पर आगजनी और तोड़फोड़ की घटनाएं भी हुई हैं. ‘अग्निपथ योजना’ के तहत सिर्फ़ चार साल आर्मी में सेवा का मौका दिए जाने को लेकर युवाओं में भीषण गुस्सा देखा जा सकता है. बिहार के बाद राजस्थान, उत्तर प्रदेश और हरियाणा में भी ‘अग्निवीर’ (Agniveer) के खिलाफ यह प्रदर्शन तेज होता जा रहा है.

इस योजना के तहत सरकार का प्लान है कि सेनाओं में चार साल के लिए युवाओं की भर्ती की जाए. कम उम्र के युवाओं को चार साल की सेवा के बाद रिटायर कर दिया जाएगा. भर्ती किए गए जवानों में से सिर्फ़ 25 प्रतिशत को सेना में रखा जाएगा. इसी को लेकर छात्रों का विरोध है.

क्या कहते हैं युवा अभ्यर्थी?
बिहार के जहानाबाद और छपरा समेत कई इलाकों में जोरदार प्रदर्शन हो रहे हैं. इन प्रदर्शनकारी छात्रों का कहना है, ‘सेना में जाने के लिए हम जीतोड़ मेहनत करते हैं. ट्रेनिंग और छुट्टियों को मिला दें तो कोई सर्विस सिर्फ़ चार साल की कैसे हो सकती है? सिर्फ़ तीन साल की ट्रेनिंग लेकर हम देश की रक्षा कैसे करेंगे? सरकार को यह योजना वापस लेनी ही पड़ेगी|”

जहानाबाद में प्रदर्शन कर रहे छात्रों का कहना है, ‘सिर्फ़ चार साल नौकरी करने के बाद हम कहां जाएंगे. चार साल की सर्विस के बाद तो हम बेघर हो जाएंगे. यही वजह है कि हमने सड़क जाम कर दी है. देश के नेताओं को अब पता चलेगा कि लोग जाग गए हैं.’ प्रदर्शनकारियों की मांग है कि इस योजना को तुरंत वापस लिया जाए.

चार साल की सेवा के बाद 75 पर्सेंट युवाओं को रिटायर करने का कॉन्सेप्ट किसी के गले नहीं उतर रहा है. आर्मी से रिटायर और पंजाब के सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह ने भी इस पर सवाल उठाए हैं. युवाओं की चिंता है कि चार साल के बाद वे क्या करेंगे. अभ्यर्थियों का कहना है कि साढ़े 17 साल में ‘अग्निवीर’ बनने वाले युवा के पास न तो कोई प्रोफेशनल डिग्री होगी और न ही कोई विशेष योग्यता, ऐसे में वह दोयम दर्जे की नौकरियों के लिए बाध्य होगा.

सरकार का तर्क है कि अर्धसैनिक बलों के अलावा राज्यों की नौकरियों में भी ‘अग्निवीरों’ को प्राथमिकता दी जाएगी. केंद्रीय गृह मंत्रालय के साथ-साथ कई राज्यों ने इसके बारे में ऐलान भी कर दिया है लेकिन अभ्यर्थियों का कहना है कि ये ऐसा होगा कि चार साल की नौकरी के बाद हम फिर से नौकरी की लाइन में लगे होंगे.

अग्निपथ योजना के अंतर्गत आवेदन करने की प्रक्रिया

अभी सरकार द्वारा केवल अग्निपथ योजना को आरंभ करने की घोषणा की गई है। जल्द सरकार इस योजना के अंतर्गत आवेदन करने के लिए आधिकारिक वेबसाइट लॉन्च करेगी।

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